नवजात शिशुओं को एक हजार दिनों के स्तनपान और माताओं के उचित पोषण आहार के महत्व पर   चिकित्सा विशेषज्ञों और पारंपरिक बैगाओं, सिरहा, गुनिया के बीच विशेष चर्चा

 

 

नवजात शिशुओं को एक हजार दिनों के स्तनपान और माताओं के उचित पोषण आहार के महत्व पर

चिकित्सा विशेषज्ञों और पारंपरिक बैगाओं, सिरहा, गुनिया के बीच चर्चा

 

*यूनिसेफ, एमसीसीआर, उपजास और जिला स्वास्थ्य विभाग का संयुक्त आयोजन

 

जगदलपुर,तोकापाल 2024। जगदलपुर जिले के तोकापाल में, बस्तर संभाग स्तर के एक दिवसीय कार्यशाला के आयोजन का मुख्य विषय बच्चों और महिलाओं के स्वास्थ्य से जुड़े विषयों पर पारंपरिक चिकित्सक, बैगा, गुनिया, सिरहा , वैद्य और चिकित्सा विशेषज्ञों के बेहतर तालमेल और समन्वय था।

उक्त स्वास्थ्य संबंधी विमर्श यूनिसेफ, मीडिया कलेक्टिव फ़ॉर चाइल्ड राइट्स, उपजास, जिला स्वास्थ्य विभाग एवं राजनांदगांव मेडिकल कॉलेज के संयुक्त तत्वावधान में आयोजित किया गया।

 

जॉब जकारिया, चीफ फील्ड ऑफिसर, यूनिसेफ छत्तीसगढ़ ने कहा कि, बच्चों के लिए नियमित टीकाकरण, उनके भविष्य के बेहतर स्वास्थ्य के लिए बेहद आवश्यक है ।बच्चों में सम्पूर्ण टीका करण उनमे, गंभीर और असाध्य रोगों से लड़ने और बचने में कवच के रूप में कार्य करता है।

 

 

डॉक्टर गजेंद्र सिंह,स्वास्थ्य विशेषज्ञ यूनिसेफ ने पावर पॉइंट प्रेजेंटेशन के जरिये बच्चों में 12 गंभीर बीमारियों व उनसे बचाव, गर्भवती महिलाओं के पोषण, किशोरी बालिकाओं में मासिक धर्म के दौरान उचित देखभाल और स्वास्थ्य खान पान और टीकाकरण के बारे में जानकारी दी।

 

इस परिचर्चा में नवजात शिशुओं के लिए 1000 दिन तक आवश्यक स्तनपान, 0 से 5 वर्ष तक के बच्चों को नियमित टीकाकरण, संस्थागत प्रसव, गर्भवती माताओं का स्वास्थ्य जांच आदि विषयों पर और जिले के सदूर अंचल एवं शहरी क्षेत्र में संचालित कार्यक्रमों के बारे में विस्तार से चर्चा किया गया।

 

इस महत्वपूर्ण कार्यशाल में, पारंपरिक चिकित्सको और स्वास्थ्य विशेषज्ञ के बेहतर तालमेल पर विचार रखते हुए, डी .श्याम कुमार, राज्य समन्वयक मीडिया कलेक्टिव फॉर चाइल्ड राइट्स ने कहा कि स्तनपान से बच्चों की रोग प्रतिरक्षक क्षमता बढ़ती है और माताओं को स्तन कैंसर से बचाव होता है।

 

डॉक्टर मैत्री, जिला टीकाकरण अधिकारी ने पोलियो टीकाकरण से मिली सुरक्षा को तुलनात्मक ढंग से बताते हुए टीकाकरण के फायदे और 12 प्रकार की बीमारियों से बचाव होता है।

 

 

कार्यक्रम के दूसरे सत्र में, बैगा, वुनिया, सिरहा के साथ समन्वित चर्चा में स्वास्थ्य संबंधित जानकारी एवं उनके विभिन्न जिज्ञासाओं का समाधान स्वास्थ्य विशेषज्ञों द्वारा विस्तार से दिया गया और साथ ही समन्वित प्रयास और एकरूपता के लिए कार्ययोजना पर भी चर्चा हुई।

 

कार्यक्रम में विशेष रूप से, बॉल परितोष दास सामाजिक नीति विशेषज्ञ, विशाल वासवानी डीडीआर ऑफिसर, स्वास्थ्य विभाग के कर्मचारी, स्वास्थ्य मित्र, और बस्तर संभाग के विभिन्न जिलो से आये, पारंपरिक वैद्य, बैगा, गुनिया और सिरहा और स्वास्थ्य विशेषज्ञ उपस्थित थे। साथ ही लोक प्रशिक्षक प्रमोद पोटाई श्याम दीवान, अनिल सेठिया, अंगद सेठिया, किरण सेठिया, आदि उपस्थित थे।

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